हाथरस की बेटी की मौत के बाद पूरे देश में आक्रोश
पन्द्रह दिनों तक जीवन और मौत के बीच झुलती उत्तर प्रदेश के हाथरस की बेटी मनीषा ने दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में दम तोड़ दिया. बीते 14 सितंबर को सामूहिक बलात्कार के बाद आरोपियों ने उसकी जीभ काट ली थी और रीढ़ की हड्डी तोड़ दी और गर्दन मरोड़ दी थी. इसके बाद भी ब्राह्मणवादी मीडिया खामोश रहा. इस घटना के बाद पूरे देश में आक्रोश फूट गया है. वहीं राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष चौधरी विकास पटेल के आवाहन पर उत्तर प्रदेश के सभी 75 जिलों में विशाल धरना-प्रदर्शन किया गया.
सूत्रों ने बताया कि
इस धरना प्रदर्शन का असर सुबह 10 बजे से ही देखने को
मिलने लगा था. धीरे-धीरे यह आंदोलन आगरा, फ़िरोज़ाबाद, मैनपुरी, मथुरा, अलीगढ़, एटा, हाथरस, कासगंज, प्रयागराज, फ़तेहपुर, कौशाम्बी, प्रतापगढ़, आज़मगढ़, बलिया, मऊ, बरेली, बदायूँ, बरेली, पीलीभीत, शाहजहाँपुर, बस्ती, संत कबीर नगर, सिद्धार्थनगर, बांदा, चित्रकूट, हमीरपुर, महोबा, बहराइच, बलरामपुर, गोंडा, श्रावस्ती, अंबेडकर नगर, अमेठी, बाराबंकी, अयोध्या, सुल्तानपुर, देवरिया, गोरखपुर, कुशीनगर, महाराजगंज, जालौन, झांसी, ललितपुर, औरैया, इटावा, फ़र्रूख़ाबाद, कन्नौज, कानपुर देहात, कानपुर नगर, हरदोइ, लखीमपुर खीरी, लखनऊ, रायबरेली, सीतापुर, उन्नाव, बाग़पत, बुलन्दशहर, गौतम बुद्ध नगर, ग़ाज़ियाबाद, हापुड़, मेरठ, मिर्ज़ापुर, संत रविदास नगर, सोनभद्र, अमरोहा, बिजनौर, मुरादाबाद, रामपुर, सम्भल, सहारनपुर, मुज़फ़्फ़रनगर, शामली, सहारनपुर, चंदौली, ग़ाज़ीपुर, जौनपुर और वाराणसी में फैल गया. इसके अलावा
दिल्ली, मध्य प्रदेश सहित कई अन्य राज्यों में भी बड़े
पैमाने पर लोग सड़कों पर उतर गए. इस आंदोलन में भारत मुक्ति मोर्चा, बहुजन क्रांति मोर्चा, राष्ट्रीय मुस्लिम
मोर्चा, राष्ट्रीय मूलनिवासी महिला संघ, भारतीय, युवा, बेरोजगार मोर्चा और
बहुजन मुक्ति पार्टी सहित हजारों संगठन इस आंदोलन में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया.
राष्ट्रीय पिछड़ा
वर्ग मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष चौधरी विकास पटेल ने कहा कि उत्तर प्रदेश ही
नहीं, बल्कि देशभर में एससी, एसटी, ओबीसी और मायनॉरिटी पर हो रहे अत्याचार और
उत्पीड़न का सिलसिला रुकने का नाम नहीं ले रहा है. उन्होंने कहा अगर यूपी की बात
करें तो यूपी में ब्राह्मणवाद इतना चरम है कि अपरोधी बेखौफ होकर हत्या, बलात्कार जैसे संगीन वारदातों को अंजाम देने में कोई कसर नहीं
छोड़ रहे हैं. इसके बाद भी सूबे की योगी सरकार दरिंदों को बचाने का काम कर रही है.
चौधरी विकास पटेल ने
कहा, हाथरस की बेटी को न्याय दिलाने के लिए राष्ट्रीय
पिछड़ा वर्ग मोर्चा ने आंदोलन शुरू किया है ताकि हाथरस की बेटी को न्याय मिल सके और
दरिंदों को फांसी. इसके साथ ही हम कई और मुद्दों को लेकर 14 सितंबर से ही आंदोलन कर रहे हैं. उन्होंने कहा हमारी मांग है कि
हाथरस की बेटी मनीषा को न्याय और दरिंदों को फांसी मिलनी चाहिए. इसके साथ-साथ अमर
सिंह अपर निजी सचिव को तत्काल प्रभाव से बहाल किया जाए. पिछड़े वर्ग पर हो रहे
अत्याचार पर रोक लगाई जाए, स्पेशल सिक्योरिटी फोर्स के गठन पर रोक लगाई जाए, सरकारी नियुक्ति में संविदा व्यवस्था लागू न किया जाए और 14 सितंबर के आंदोलन के दौरान किसानों पर लगाए गए फर्जी मुकदमे
वापस लिए जाएं. अगर सरकार ऐसा नहीं करती है तो हम, आने वाले समय में
विशाल आंदोलन करेंगे.@Nayak1
Outrage across the country after the death of Hathras daughter
Hailing
between life and death for fifteen days, the daughter of Hathras of Uttar
Pradesh, Manisha died in Safdarjung Hospital in Delhi. On September 14, after
the gang rape, the accused had bitten his tongue and broke his backbone and
twisted his neck. Even after this, the Brahminical media remained silent. After
this incident, anger has erupted all over the country. At the same time, on the
call of National President of National Backward Classes, Chaudhary Vikas Patel,
a huge protest was organized in all 75 districts of Uttar Pradesh.
Sources
said that the effect of this dharna demonstration started to be seen from 10 am
itself. Gradually this movement is Agra, Firozabad, Mainpuri, Mathura, Aligarh,
Etah, Hathras, Kasganj, Prayagraj, Fatehpur, Kaushambi, Pratapgarh, Azamgarh,
Ballia, Mau, Bareilly, Badaun, Bareilly, Pilibhit, Shahjahanpur, Basti, Sant
Kabir Nagar , Siddharthnagar, Banda, Chitrakoot, Hamirpur, Mahoba, Bahraich,
Balrampur, Gonda, Shravasti, Ambedkar Nagar, Amethi, Barabanki, Ayodhya,
Sultanpur, Deoria, Gorakhpur, Kushinagar, Maharajganj, Jalaun, Jhansi,
Lalitpur, Auraiya, Etawah, Etawah, Etawah Kannauj, Kanpur Dehat, Kanpur Nagar,
Hardoi, Lakhimpur Kheri, Lucknow, Rae Bareli, Sitapur, Unnao, Baghpat,
Bulandshahar, Gautam Budh Nagar, Ghaziabad, Hapur, Meerut, Mirzapur, Sant
Ravidas Nagar, Sonbhadra, Amroha, Bijnor, Moradabad, Rampur , Sambhal,
Saharanpur, Muzaffarnagar, Shamli, Saharanpur, Chandauli, Ghazipur, Jaunpur and
Varanasi. Apart from this, in many other states including Delhi, Madhya
Pradesh, a large number of people took to the streets. Thousands of
organizations including Bharat Mukti Morcha, Bahujan Kranti Morcha, Rashtriya
Muslim Morcha, Rashtriya Moolnivasi Mahila Sangh, Bharatiya, Yuva, Rojgar
Morcha and Bahujan Mukti Party participated extensively in this movement.
National
President of National Backward Classes Front, Chaudhary Vikas Patel said that
not only Uttar Pradesh, but the process of atrocities and atrocities on SCs, STs,
OBCs and minorities across the country is not taking a name. He said that if we
talk about UP, then Brahmanism is so extreme in UP that the opponents are
leaving no stone unturned to carry out serious incidents like murder, rape.
Even after this, the Yogi government of the state is working to save the poor.
Chaudhary
Vikas Patel said, to provide justice to Hathras 'daughter, the National
Backward Classes Front has started an agitation so that Hathras' daughter can
get justice and hang the poor. Along with this, we have been agitating since 14
September on many more issues. He said that our demand is that Manisha,
daughter of Hathras, should get justice and the poor should be hanged. Along
with this, Amar Singh Additional Private Secretary should be reinstated with
immediate effect. The atrocities on the backward classes should be stopped, the
formation of Special Security Force should be stopped, the contractual
arrangement should not be implemented in the government appointment and the
fake cases against the farmers during the September 14 agitation should be
withdrawn. If the government does not do this then we will have a huge movement
in the coming time. @ Nayak1
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